CSJM यूनिवर्सिटी में फेल-पास का खेल: 50 हजार में हुआ सौदा, 8 कर्मचारी जांच के घेरे में

छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय (CSJMU) में चल रहे फेल-पास घोटाले की परतें अब खुलने लगी हैं। इस मामले में निहाल हुसैन रिजवी को फेल से पास करने के लिए 50 हजार रुपये का सौदा तय किया गया था। इस पूरे घोटाले का मास्टरमाइंड शिव कुमार श्रीवास्तव उर्फ ‘मास्टर’ था, जिसने अपने सहयोगी जगदीश पाल के साथ मिलकर इसे अंजाम दिया।

शिव कुमार के इस धोखाधड़ी नेटवर्क में विश्वविद्यालय के चार कर्मचारी सक्रिय सदस्य के रूप में शामिल थे। इन चार में से तीन को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है, जबकि चौथे सदस्य अतुल शुक्ला की तलाश जारी है। इसके अलावा, विवि में कार्यरत आठ अन्य कर्मचारी भी इस घोटाले की जांच के दायरे में हैं।

एसएससी से जुड़े कर्मचारी और दलाल

सीएसजेएमयू में फेल-पास और फर्जी अंकतालिका बनाने के खेल में कई कर्मचारी दलालों के माध्यम से शामिल थे। विवि की जांच में अब तक तीन कर्मचारियों की गिरफ्तारी हो चुकी है, जबकि एक फरार है। आठ कर्मचारी अभी भी जांच के घेरे में हैं। शिव कुमार उर्फ ‘मास्टर’ के साथ सात दलाल भी सक्रिय थे, जिनमें महेश, हरिकेश, योगेंद्र, उदित, वीरेंद्र, प्रकाश और सौरभ के नाम शामिल हैं।

विवि की जांच में यह भी पाया गया कि इन कर्मचारियों में से चार वर्तमान में स्टूडेंट सपोर्ट सेल (SSC) में सत्यापन का काम करते हैं, जबकि दो अन्य पूर्व में SSC में कार्यरत थे। एक अन्य कर्मचारी कंप्यूटर सेक्शन में कार्यरत था और एक सेवानिवृत्त हो चुका है।

गिरोह के सक्रिय सदस्य और गिरफ्तारी

शिव कुमार के इस गिरोह में शामिल अन्य सक्रिय सदस्यों में मनीष त्रिपाठी, घनश्याम गौड़ और राम भुजारत भी हैं। मनीष फाइनेंस विभाग में, घनश्याम एलएलबी विभाग में और राम भुजारत भी विश्वविद्यालय में कार्यरत हैं।

निहाल को पास करने का ठेका उसकी बुआ के लड़के शहनाज ने आशीष राय को 50 हजार रुपये में दिया था। शहनाज जूही स्थित एक इंटर कॉलेज में शिक्षक है, और आशीष विश्वविद्यालय में दलाली का काम करता है। उसने शिव कुमार को 20 हजार रुपये देकर यह काम करवाया, जिसने बाद में जगदीश पाल के माध्यम से गजट का पन्ना प्राप्त कर उसमें संशोधन किया।

कुलपति का सख्त रुख

सीएसजेएमयू के कुलपति प्रो. विनय कुमार पाठक ने इस मामले पर सख्त रुख अपनाते हुए कहा कि विश्वविद्यालय में फर्जीवाड़ा और छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि जो भी कर्मचारी इस घोटाले में शामिल पाए जाएंगे, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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